गरियाबंद। अमलीपदर क्षेत्र के सीमावर्ती गांव धनौरा में अवैध धान डंपिंग के खिलाफ मैनपुर एसडीएम डॉ. तुलसीदास मरकाम ने बड़ी कार्रवाई की है। जानकारी के अनुसार, एसडीएम मरकाम शनिवार को सीमावर्ती इलाकों के औचक निरीक्षण पर निकले थे। इस दौरान उन्हें सूचना मिली कि धनौरा गांव में गुच्चु उर्फ गया राम यादव पिता मोहन यादव के घर बड़ी मात्रा में अवैध धान रखा गया है। सूचना की तस्दीक के बाद एसडीएम अपने राजस्व अमले के साथ मौके पर पहुंचे और जांच की।
जांच के दौरान पाया गया कि किसान के घर में लगभग 300 पैकेट धान डंप किया गया है। जब एसडीएम ने किसान से धान के संबंध में पूछताछ की तो वह संतोषजनक जवाब नहीं दे सका और न ही किसी प्रकार का वैध दस्तावेज प्रस्तुत कर पाया। मौके पर किसान द्वारा दिए गए गोलमोल जवाबों और दस्तावेजों के अभाव में एसडीएम मरकाम ने धान को जप्त करते हुए पंचनामा तैयार किया और शर्तों के साथ फिलहाल किसान को सुपुर्द कर दिया।

किसान ने जिम्मेदारी से पल्ला झाड़ने की कोशिश की, पर खुलासा ने किया अस्वीकार
जप्ती की कार्रवाई के दौरान जब एसडीएम ने किसान से पूछा कि यह धान किसका है, तो उसने बचने के लिए गांव के ही एक व्यक्ति महादेव का नाम लिया। लेकिन जब महादेव से पूछताछ की गई तो उसने धान अपना होने से साफ इंकार कर दिया। ऐसे में किसान के बयान विरोधाभासी साबित हुए और डंप धान अवैध होने की पुष्टि हो गई।
धान खरीदी में अभी वक्त, फिर भी धड़ल्ले से डंप हो रहा ओडिशा का धान
गौरतलब है कि समर्थन मूल्य पर धान खरीदी की प्रक्रिया शुरू होने में अभी लगभग एक माह का समय बाकी है। इसके बावजूद अमलीपदर क्षेत्र में अवैध धान की आवक लगातार जारी है। बताया जा रहा है कि ओडिशा से अवैध धान बड़ी मात्रा में सीमा पार कर छत्तीसगढ़ के विभिन्न गांवों में डंप किया जा रहा है ताकि खरीदी सीजन शुरू होते ही इसे समर्थन मूल्य पर बेचा जा सके।

बीते दिनों अमलीपदर तहसीलदार सुशील कुमार भोई ने भी इसी तरह की कार्रवाई की थी, जिसमें एक पिकअप वाहन से ओडिशा का धान जब्त किया गया था। वाहन को बाद में देवभोग थाना क्षेत्र होने के कारण वहां की पुलिस के सुपुर्द किया गया था। अब मैनपुर एसडीएम द्वारा की गई यह बड़ी कार्रवाई प्रशासन की सतर्कता को दर्शाती है।
कारोबारियों में मचा हड़कंप, पर नहीं थम रहा अवैध धान का खेल
लगातार हो रही प्रशासनिक कार्रवाइयों से धान कारोबारीयों में हड़कंप मचा हुआ है। बावजूद इसके सीमावर्ती इलाकों में ओडिशा का धान छत्तीसगढ़ में प्रवेश कर रहा है और गांवों में डंप किया जा रहा है। प्रशासनिक सूत्रों का कहना है कि खरीदी सीजन शुरू होने से पहले ऐसी कार्रवाइयां तेज की जाएंगी ताकि प्रदेश में अवैध धान के व्यापार पर पूर्ण विराम लगाया जा सके।
एसडीएम की सख्त चेतावनी
एसडीएम डॉ. तुलसीदास मरकाम ने स्पष्ट कहा है कि किसी भी हालत में अवैध धान की खरीदी-बिक्री या भंडारण बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। सीमावर्ती क्षेत्रों में लगातार निगरानी रखी जा रही है, और जिन लोगों के पास बिना वैध प्रमाण के धान पाया जाएगा, उनके खिलाफ कठोर कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
> “प्रदेश में समर्थन मूल्य पर खरीदी किसानों के हित के लिए है, न कि व्यापारियों के फायदे के लिए। ऐसे अवैध कारोबारियों पर सख्त कार्रवाई जारी रहेगी।”— डॉ. तुलसीदास मरकाम, एसडीएम मैनपुर
यह कार्रवाई न केवल सीमावर्ती क्षेत्रों में अवैध धान तस्करी पर लगाम लगाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है, बल्कि प्रशासन की सक्रियता का भी परिचायक है। ग्रामीण क्षेत्र में इस कार्रवाई की चर्चा जोरों पर है और धान के अवैध कारोबार में लिप्त लोगों में भय का माहौल व्याप्त है।

Satyanarayan Vishwakarma serves as the Chief Editor of Samwad Express, a Hindi-language news outlet. He is credited as the author of articles covering topics such as local and regional developments



